Friday, March 27, 2009

कतेक डारिपर पुरस्कृत जितेन्द्र झा. १७ फरबरी २००९ । नयाँ दिल्ली

कतेक डारिपर पुरस्कृत


जितेन्द्र झा. १७ फरबरी २००९ । नयाँ दिल्ली
मैथिली भाषाक कतेक डारिपर संस्मरण कृतिके एहिबेरके साहित्य एकेडमी पुरस्कार 2008 देल गेल अछि । भारतक राजधानी नयाँ दिल्ली स्थित साहित्य एकेडमीद्वारा आयोजित एक समारोहमे विभिन्न 23 भारतीय भाषाक कृतिके पुरस्कृत केएल गेल अछि । साहित्य एकेडमी पुरस्कार अन्तर्गत 50 हजार भारतीय नगद आ ताम्रपत्रसं सर्जकके सम्मान कएलक । मैथिली भाषाक संस्मरण कृति कतेक डारिपरके लेखक मन्त्रेश्वर झा के इ सम्मान देल गेलन्हि । एहि पोथीमे झा अपन प्रशासनिक जीवनक अनुभव सहेजने छैथ । झा मैथिली साहित्यिक, सांस्कृतिक अभियानमे सक्रिय छैथ ।
झा मैथिली साहित्य समृद्धिक लेल पाठक संख्या बढएबापर ध्यान देल जएबाक चाही कहलनि । मन्त्रे·ार झा पटनावि·ाविद्यालयसं स्वर्ण पदक आ राजनीतिमे स्नातकोत्तर कएने छैथ । हिनक अन्चिन्हार गाम, बहसल रातिक इजोत, कांटक जंगल आ पलाश, चाही एकटा नोकर जेहन कृति प्रकाशित छन्हि । हिनक जन्म सन् 1944 मे बिहारक मधुवनी जिलामे भेल छन्हि ।
सन 1972 में झाक प्रथम कृति खाधि कविता संग्रह प्रकाशित भेल रहनि । एखनधरि हिनक 25 टा कृति प्रकाशित भ चुकल छन्हि । पुरस्कृत पोथी मैथिलीमे नव आयामक पहिल आत्म कथा मानल गेल अछि । (साभार विदेह- www.videha.co.in )

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