प्रदेश मे गंगा नदी पर पूलक कमीक कारण प्रदेश मे कारोबार के
गति नहि भेटि रहल अछि। नीतीश कुमारक नेतृत्व बला राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन
सरकार प्रदेशमे विकासक गति देबाक संगहि कारोबारकेँ
गति देबाक दिस सेहो डेग उठौलक अछि। कारोबारक एहि समस्याक समाधानक लेल सरकार गंगा
नदी पर पूल बनैबा पर विशेष जोर दऽ रहल अछि। एखन गंगा नदी पर तीनटा पूल बनि रहल अछि
आ चारिम पूलक लेल सेहो केन्द्र सरकार सॅ अनुमति भेटि गेल अछि। ओ तँ एखन गंगा नदी पर चारिटा पूल अछि जाहि मे पटनाक महात्मा गांधी सेतू आ
मोकामाक राजेन्द्र पूल पर बेसी भार रहैत अछि। एक दिस महात्मा गांधी सेतू
संरचनात्मक खराबीक कारण मात्र एक लेन चालू अछि जाहि सॅ हरदम पूल पर जाम लागल रहैत
अछि। तऽ दोसर दिस राजेन्द्र पूल बेसी पुरान होयबाक कारण बेर-बेर मरम्मतिक लेल बंद
करय पड़ैत अछि। एहि स्थिति मे प्रदेशक पूर्वी आ पश्चिमी भागक मध्यक आबाजाही मे
परेशानी बढ़ि गेल अछि। सरकार एहि समस्याक जनतब लेलक अछि आ एहि समस्याक समाधानक
प्रयास कऽ रहल अछि। गंगा नदीक ऊपर पूल यातायात लोक सुविधा आ कारोबारक लेल आवश्यक अछि तें राज्य सरकार प्रदेश मे नव पूल बनैबाक काज तेजी सॅ चलि रहल अछि।
पथ निर्माण मंत्री नंदकिशोर यादव जनतब देलनि जे एखन सरकार गंगा
नदी पर दू टा पूल बनैबाक योजना बनौलक अछि। एहि मे एकटा ताजपुर-बख्तियारपुरक मध्य
बनाओल जा रहल अछि। ई पूल सार्वजनिक-निजी-भागीदारी (पीपीपी)क अंतर्गत बनि रहल अछि।
चारि लेनक एहि पूल पर गोटेक 1700 करोड़ टाका खर्च होयत। एकर 20-20 प्रतिशत टाका केन्द्र आ राज्य सरकार दऽ रहल अछि तथा 60 प्रतिशत टाका निजी साझेदार कम्पनी लगा रहल अछि। श्री यादव जनौलनि जे
महत्वक एकटा योजनाक अंतर्गत ई पूल बनाओल जा रहल अछि। एकर अंतर्गत सरकार प्रदेश के
उड़ीसाक पारादीप बन्दरगाह सॅ जोड़बाक योजना बनौलक अछि। एहि परियोजनाक मंजूरिक लेल
केन्द्र सरकार सॅ लगातार गपसप चलि रहल अछि। ज्यों एकर मंजूरि भेटि जाईत अछि तऽ ई
प्रदेशक लेल महत्वपूर्ण होयत आ कारोबारी गतिविधि मे सेहो तेजी आओत। ओना
ताजपुर-बख्तियारपुर पूल वर्ष 2016 धरि बनि कऽ तैयार भऽ जायत।
सरकार के पटनाक महात्मा गांधी सेतूक समानान्तर सेहो नव पूल
बनैबाक अनुमति केन्द्र सॅ भेटि गेल अछि। पथ निर्माण मंत्री जनौलनि जे सरकार कतेको
दिन सॅ एहि पूल के बनैबाक अनुमति केन्द्र सॅ मांगि रहल छल। दरअसल महात्मा गांधी
सेतु आब आवश्यकताक पूर्ति करबा मे छोट पड़ि रहल अछि। पटना प्रदेशक आर्थिक गतिविधिक
केन्द्र अछि। तें एहि ठाम आधुनिक आ नव पुलक आवश्यकता अछि। केन्द्र सरकार महात्मा
गांधी सेतुक समानांतर छह लेन एहि पुलक अनुमति देलक अछि। एहि सॅ प्रदेशक आवश्यकताक
पूरा भऽ सकत। एहि सॅ उŸार आ दक्षिण बिहारक
मध्य आबा जाही आसान भऽ सकत। संगहि प्रदेश मे संगहि गंगा नदी पर बनल पूल पर बोझ कम
होयत। ई पूल लोक निजी साझेदारी (पीपीपी)क आधार पर बनाओल जायत। एहि लेल साझेदारक
खोज कयल जा रहल अछि। एकर अलाबा सरकारक नजरि रेलवेक परियोजना पर सहो अछि। दरअसल एखन
पटना आ मुंगेर मे दू-दूटा सड़क सह रेल पूल रेलवे द्वारा बनाओल जा रहल अछि। हालांकि
रेलवेक खाली खजाना के देखि ई योजना सभ जल्दी पूरा भऽ सकत। एकर भरोसा राज्य सरकार
के सेहो नहि अछि। राजधानी पटनाक दीघा आ सोनपुरक परमानन्दपुर मध्य बनि रहल रेल सह
सड़क पूलक निर्माण स्थिति रेलवेक वास्तविकता जाहिर कऽ रहल अछि। पछिला दस वर्ष सॅ ई
परियोजना चलि रहल अछि आ एखन धरि पूरा नहि भेल अछि। वर्तमान स्थिति केँ
देखि संभावित समय सीमा 2015-16 धरि पूरा होयबाक उम्मीद नहि
अछि। पथ निर्माण मंत्री जनौलनि जे राज्य सरकार दीघा आ परमानन्दपुरक मध्य बनि रहल
रेल सह सड़क पूल के जल्दी पूरा करबाक आग्रह केन्द्र सॅ करता एहि वास्ते राज्य सरकार
अन हिस्साक टाका उपलबध करा देलक अछि।
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